- चीन से भारत की यह कैसी दुश्मनी है कि लद्दाख में तक़रार और चाइनीज़ सामान का बहिष्कार होने के बावजूद भी चीन से 2022 में बढ़ गया 5 गुना आयात- China-India Business News In Hindi
• चाइना और भारत के बीच बने गतिरोध के बीच निरन्तर बढ़ता जा रहा है कारोबार
• मात्र 3 महीनों में ही भारत में 5 गुना चाइनीज़ सामान आयात बढ़ा
• चाइना के साथ भारत का व्यापार घाटा 69.38 बिलियन डॉलर से बढ़कर 125 बिलियन डॉलर पर पहुँचा
न्यूज़ डेस्क:
आमतौर पर देखा जाता है कि जब जब चीन के साथ भारत का तनाव बढ़ता है तो सबसे पहले भारत में चाइनीज़ सामान के बहिष्कार की जंग छिड़ जाती है। जहाँ भारत सरकार भी सुरक्षा की दृष्टि से बहुत सी चाइनीज़ ऐप्स को बैन कर देती है तो वहीं हम भारत के लोग भी देशहित के लिये चाइनीज़ सामान के बहिष्कार की पोस्ट्स से सोशल मीडिया को ही हैंग कर देते हैं।
क्या हम वास्तव में देशहित के लिए चाइनीज़ सामान का बहिष्कार करते हैं? या फ़िर बस राजनीतिक कारणों से दिखावा करते हैं? क्योंकि सवाल उठता है कि अगर हम वास्तव में चाइनीज़ सामान का बहिष्कार करते हैं तो कैसे इस वर्ष जनवरी से मार्च तक की पहली ही तिमाही में भारत मे 5 गुना चाइनीज़ सामान आयात बढ़ जाता है? आंकड़े बता रहे हैं कि चीन और भारत के बीच द्विपक्षीय कारोबार निरन्तर बढ़ता जा रहा है।
लेकिन सोचने वाली बड़ी बात यह है कि यह कारोबार एक तरफ़ा ही नज़र आता है। अर्थात चाइना के साथ भारत का व्यापार घाटा बढ़ता जा रहा है। यानि हम (भारत) चीन से जितना सामान ख़रीदते हैं उसके मुक़ाबले में चाइना हमसे बहुत ही कम सामान ख़रीदता अर्थात आयात करता है। लगता है जैसे चाइना सिर्फ़ द्विपक्षीय व्यापार का दिखावा कर रहा हो। (China-India Business News In Hindi)
एक रिपोर्ट अनुसार इस वर्ष-2022 की पहली तिमाही यानि जनवरी से मार्च तक चाइना ने भारत को ख़ूब निर्यात किया है। जिस कारण चाइना का निर्यात भारत के निर्यात के मुक़ाबले 5 गुना से भी अधिक बढ़ गया है। इस चालू वर्ष-2022 की पहली तिमाही में भारत और चीन के बीच कुल 31.96 बिलियन डॉलर का व्यापार हुआ है, जिसमें भारत ने चाइना से 27.1 बिलियन डॉलर का सामान आयात किया है जबकि इसके मुक़ाबले चाइना ने भारत से मात्र 4.87 बिलियन डॉलर का ही सामान ख़रीदा है। मतलब हमसे 5 गुना कम। (China-India Business News In Hindi)
एक रिपोर्ट के अनुसार वर्ष-2021 में चीन के साथ भारत का व्यापार घाट 69.38 बिलियन डॉलर था अब बढ़कर 125 बिलियन डॉलर पर पहुँच चुका है। न्यूज़ एजेंसी PTI के अनुसार यह व्यापार डेटा चाइनीज़ कस्टम विभाग ने बुधवार को जारी किया है। भारत और चाइना देशों के बीच व्यापार में इतनी वृद्धि ऐसे समय मे हुई जब पूर्वी लद्दाख में कई स्थानों पर दोनों देशों की सेनाओं के बीच इन 2 वर्षों से सबसे अधिक गतिरोध की स्थिति देखी जा रही है। (China-India Business News In Hindi)
ग़ौर करने वाली सबसे बड़ी बात यह है कि इस द्विपक्षीय व्यापार में भी चाइना का हिस्सा बहुत बड़ा है। यानि चालू वित्तीय वर्ष के इन 3 महीनों में भारत-चाइना के बीच जितनी धनराशि का व्यापार हुआ है उस में 2,710 करोड़ डॉलर का सामान अकेले चाइना ने भारत को निर्यात किया है। देखा जाये तो बीते वर्ष ही भारत और चाइना के बीच व्यापार रिकॉर्ड स्तर पर पहुँच गया था जो 12,500 करोड़ डॉलर से भी कहीं अधिक था।
फ़िलहाल के इस द्विपक्षीय व्यापार से तो ये ही लगता है कि सीमा पर दोनों देशों के बीच चाहे जो खींचतान और तक़रार हो लेकिन इन दोनों दुश्मन देशों के बीच व्यापार का ग्राफ़ ऊपर तेज़ी से बढ़ता जा रहा है। भले ही चाइना इसका सबसे ज़्यादा फ़ायदा उठा रहा हो। (China-India Business News In Hindi)
इसीलिए ही भारत-चीन व्यापार के द्विपक्षीय व्यापार के संबंध में चीन के ‘रिसर्च सेंटर फॉर चाइना-साउथ एशिया कॉपरेशन’ के महासचिव लियु जोंगयी ने प्रतिक्रिया देते हुए अखबार को बताया कि “द्विपक्षीय व्यापार में लगातार वृद्धि ने 2 प्रमुख विकाशसील अर्थव्यवस्थाओं के मध्य ‘ग्लोबल जियोपॉलिटिकल’ बदलाव के कारण पनपे इस तनाव के बावजूद पूरकता को दिखाया है।” उन्होंने बताया कि “मोबाईल फ़ोन्स जैसे इलेक्ट्रोनिक उत्पादों के अलावा लगभग 70 प्रतिशत रसायन और भारत के चिकित्सा उद्योग में प्रयोग होने वाले सामान चाइना से ही आयात की जाती हैं।” (China-India Business News In Hindi)

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