Meerut Vandematram Matter: मेरठ का महापौर और पार्षदों का शपथ ग्रहण समारोह बना अखाड़ा, वंदे मातरम’ पर भाजपा और AIMIM पार्षदों में हुई हाथापाई

Meerut Vandematram Matter: मेरठ का महापौर और पार्षदों का शपथ ग्रहण समारोह बना अखाड़ा, वंदे मातरम’ पर भाजपा और AIMIM पार्षदों में हुई हाथापाई

 

 

मेरठ: Meerut Vandematram Matter-यूपी के मेरठ जनपद में आज (शुक्रवार को) महापौर व पार्षदों के शपथ ग्रहण समारोह के दौरान भाजपा और AIMIM के पार्षदों के बीच मारपीट होने का मामला सामने आया है।Meerut Vandematram Matter

मीडिया रिपोर्ट्स अनुसार चौधरी चरण सिंह यूनिवर्सिटी में आयोजित हुए इस शपथ ग्रहण समारोह में यह मारपीट वंदे मातरम् गीत को लेकर हुई है। आरोप है कि AIMIM के पार्षद वंदे मातरम् गीत गाये जाने के दौरान खड़े नहीं हुए हैं। (Meerut Vandematram Matter)

बताया जा रहा है कि इस दौरान भाजपा ने ‘जय श्रीराम’ के नारे लगाये तो वहीं AIMIM पार्षदों द्वारा भी धार्मिक नारेबाज़ी की गयी। इसी बीच विवाद इतना बढ़ा कि बीजेपी के पार्षदों ने ज़िले आला अधिकारियों के सामने ही AIMIM के पार्षदों की पिटायी कर दी। इसके बाद पुलिस प्रशासन ने स्तिथि को संभाला। लेकिन AIMIM के पार्षद शपथ ग्रहण समारोह का बहिष्कार कर बाहर निकल गये।

AIMIM के लोगों का कहना है कि वंदे मातरम कोई राष्ट्रगान नहीं है जिसके सम्मान में देश के हर नागरिक को खड़ा होना चाहिये। अगर इस दौरान राष्ट्रगान होता तो वे अपने देश के राष्ट्रगान के सम्मान में बाक़ायदा खड़े होते। लेकिन वे वंदेमातरम किसी भी सूरत में नहीं गायेंगे।(Meerut Vandematram Matter)

जबकि भाजपा से जुड़े लोगों को ऐतराज़ इस बात पर था कि AIMIM के पार्षदों ने न तो वंदेमातरम गया और न ही वे इस दौरान सम्मान में खड़े नहीं हुए। इसी बात को लेकर मेरठ का महापौर और पार्षदों का शपथ ग्रहण समारोह अखाड़ा बनकर रह गया और दोनों पार्टियों के पार्षदों के बीच विवाद पैदा हो गया। विवाद इतना बढ़ा कि बात लात घूंसों तक जा पहुँची।(Meerut Vandematram Matter)

बता दें कि देश में मौजूदा बीजेपी की सरकार के आने के बाद राष्ट्रगान की तरह राष्ट्रगीत को भी उसी प्रकार सम्मान में खड़े होकर राष्ट्रगीत गाने का एक चलन सा शुरु हो गया है, जैसा कि वंदेमातरम गीत ही राष्ट्रगान बन गया हो। कई बार तो देखा गया है कि वंदेमातरम न गाने वालों को देशद्रोही तक की संज्ञा तक दे दी जाती है।। ((Meerut Vandematram Matter))

जबकि संवैधानिक रूप से वंदेमातरम एक राष्ट्रीय गीत है, न कि नेशनल एंथम। कई बार इस बात को लेकर पहले भी देश में काफ़ी हँगामा हो चुका है। क्योंकि देश के मुसलमानों को राष्ट्रगान गाने और उसके सम्मान में खड़े होने पर कभी कोई आपत्ति नहीं हुई है, लेकिन एक विशेष हिन्दुत्वादी विचारधारा के लोग वंदेमातरम पर राजनीति करने लगे हैं, इसी को लेकर देश में आज जैसी घटनायें होने लगी है।
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